मान लीजिए आप किसी काम में 100 करोड़ रुपया कमाए है और 100 करोड़ रुपया में आप सरकार को कोई Tax (टैक्स) नहीं देते हैं तो इस 100 करोड़ रुपये को ही Black Money करते हैं।Black Money को और सरल शब्दों में कहूं तो जिस पर आप Tax pay नही करते हैं उसी पैसे को Black Money कहते हैं।
White Money (व्हाइट मनी) क्या होता है?
अगर आप अपने 100 करोड़ रुपया में सरकार को Tax (टैक्स) देंगे तो सरकार GST और Income Tax मिलाकर लगभग 50% Tax के रूप में ले लेंगे। यानी Tax देने के बाद अब आपके पास 100 करोड़ में से 50 करोड़ रुपया ही बचा और यह जो 50 करोड़ रुपया बचा इसी को White Money कहते हैं।White Money को और आसान शब्दों में कहूं तो जिस पर आप Tax Pay करते हैं उसी को white money कहते हैं।
हवाला बाजार क्या होता है?
लोग Tax देने से बचने के लिए हवाला बाजार जाते हैं। हवाला बाजार के एजेंट लोगों से बहुत कम Fee लेकर उसके Black Money को White Money में बदल देते हैं। जैसे अगर आपने 100 करोड रुपए कमाए हैं और 100 करोड़ रुपये में अगर टैक्स देने जाएंगे तो टैक्स डिपार्टमेंट 50 करोड़ रुपया टैक्स ले लेंगे। लेकिन हवाला बाजार में 100 करोड रूपए को White Money में बदलने के लिए मात्र 10% यानी 100 करोड़ रुपए में 10 करोड़ रुपया चार्ज करते हैं और इस तरह आपके पास 90 करोड़ रुपया बच जाता है।
Money Laundering (मनी लांड्रिंग) क्या होता है?
मनी लॉन्ड्रिंग हवाला बाजार का ही देन है। हवाला बाजार में बहुत सारे एजेंट होते हैं यहां तक कि कई अलग-अलग देशों में इसके एजेंट रहते हैं। इस एजेंट का काम होता है Black Money को White Money में बदलना। जब कोई आदमी अपना Black Money लेकर इसके पास जाते हैं तो यह एजेंट उससे पैसा ले लेते हैं और इस आदमी के नाम पर झूठमूठ का कोई कंपनी खोलवाते हैं और यह एजेंट लोग दूसरे देश में रह रहे एजेंट से उस कंपनी में Invest के नाम पर उसके Account में पैसा डालते हैं और सरकार इनसे टैक्स भी नहीं ले सकता है। क्योंकि विदेशी कंपनियों को सरकार Invest करने के लिए बुलाते हैं। जब सारा पैसा इस आदमी के Account में आ जाता है तो उस कंपनी को बाद में बंद कर देते हैं। यह बताकर कि कंपनी घाटे में जा रही थी। पहले जहां सरकार को 100 करोड रूपए में 50 करोड़ रुपया टैक्स देना पड़ता था अब वहां हवाला के एजेंट 10 करोड़ में ही इसके Black Money को White Money में बदल देते हैं। इस तरह इसके पास 90 करोड़ रुपया बच जाता है। इसी Process को मनी लॉन्ड्रिंग कहते हैं।